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नवजात को हाथों में उठाकर निकले माता-पिता, कलेजा चीरकर रख देगा प्रयागराज का यह वीडियो

Neemuch headlines August 4, 2025, 8:34 pm Technology

संगमनगरी प्रयागराज बाढ़ की चपेट में है। गंगा और यमुना का पानी लोगों के घरों में घुसने लगा है। इस बीच एक ऐसा वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है, जो विकास के दावों की हकीकत की पोल खोलता है। इसे प्रयागराज का बताया जा रहा है। वीडियो में दिखाई दे रहा है कि माता-पिता बाढ़ के पानी से गुजर रहे हैं। उनके हाथों में नवजात दिखाई दे रहा है। उनके कंधे तक बाढ़ का पानी भरा है। दंपति ने बच्चे को तौलिये में लपेटा है।

पिता ने बच्चे को हाथ में लेकर आसमान की तरफ जितान हो सकता है, उतना ऊपर उठा लिया है। पिता धीरे-धीरे बच्चे को लेकर पानी को पार कर रहा है। दंपति बच्चे को सुरक्षित जगह ले जाने की कोशिश कर रहा है। सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने इस वीडियो को शेयर करते हुए उत्तर प्रदेश सरकार पर आरोप भी लगाए हैं। मीडिया खबरों के मुताबिक प्रयागराज के राजापुर क्षेत्र का बताया जा रहा है। कॉलेज की छात्रा अनामिका ने अपने घर की छत से यह नजारा देखा और उसे मोबाइल में कैद कर लिया। अनामिका के अनुसार शुक्रवार दोपहर करीब 12.29 बजे उसने देखा कि एक युवक बाढ़ के पानी में धीरे-धीरे आगे बढ़ रहा है और उसके हाथों में एक छोटा बच्चा था। छात्रा के अनुसार जैसे वासुदेव भगवान कृष्ण को बचाने के लिए यमुना पार कर रहे हों, वैसा ही दृश्य सामने था। यह वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होते ही लोगों की संवेदनाएं उमड़ पड़ीं। अखिलेश यादव ने क्या लगाए आरोप अखिलेश यादव ने सोमवार को जारी बयान में कहा कि प्रदेश का बड़ा हिस्सा बाढ़ के संकट से गुजर रहा है लेकिन भाजपा सरकार लोगों के बचाव और जरूरी चीजों की व्यवस्था करने में फेल हो गयी है। प्रयागराज समेत प्रदेश के लगभग दो दर्जन जिलों में बाढ़ की वजह से भयावह स्थिति है। प्रयागराज, वाराणसी में गली मोहल्लों में नाव चलाने की नौबत है। भोजन और पीने के पानी की फ़िल्लत चरम पर है।

बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में घरों में पानी घुस गया है। बीमार, बच्चों, गर्भवती महिलाओं और बुजुर्गों को दवा-इलाज नहीं मिल पा रहा है। स्वास्थ्य-चिकित्सा सेवाएं ठप्प हैं। स्कूलों के मर्जर के कारण पहले से ही पढ़ाई के लिए बच्चे मारे-मारे फिर रहे हैं। बाढ़ ने स्थिति और खराब कर दी। बच्चों की पढ़ाई ठप्प है। यादव ने कहा कि भाजपा सरकार में स्मार्टसिटी के नाम पर बजट का भारी अपव्यय किया है। प्रयागराज और वाराणसी स्मार्टसिटी के नाम पर बीस-बीस हजार करोड़ रूपये से ज्यादा का अपव्यय हुआ। लेकिन इनकी स्थिति में कोई सुधार नहीं हुआ। जगह-जगह गड्‌ढ़ों का साम्राज्य और जलभराव है। अखिलेश यादव ने कहा कि बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में बिजली की समस्या है। करंट लगने का डर है। ऊपरी मंजिलों पर रहने पर मजबूर लोगों के बीच घर के धंसने का भी भय है। घरों के सामान डूब गए हैं। लोगों के पास पहनने को कपड़े नहीं है। मोबाइल चार्ज नहीं हो पा रहे हैं, जिससे लोगों के बीच संवाद नहीं हो पा रहा है। सरकारी राहत दिखावा साबित हो रही है। मंत्री सिर्फ खानापूर्ति करने में लगे हैं। मुख्यमंत्री द्वारा गठित टीम-11 की भूमिका शून्य है। भाजपा सरकार का जोर प्रचार पर है। प्रयागराज में 20 हज़ार करोड़ खर्च करने के बाद प्रयागवासियों को जलभराव के सिवा और क्या मिला? भ्रहाचार के गहरे गड्ढ़ों में भरा पानी भाजपाई पपालों-घोटालों के गोरखधंधे का भंडाफोड़ कर रहा है।

स्मार्ट सिटी की संकल्पना पर पानी फैरनेवाले भाजपाई अपनी अपनी नाव लेकर कहाँ गायब हो गये हैं। उन्होंने कहा कि बाढ़ग्रस्त क्षेत्रों में बाढ़जन्य बीमारियों की आशंका हैं। बाढ़ सिर्फ़ कीचड़, कचरा, मलबा और दुर्गंध ही नहीं बीमारी-महामारी को भी छोड़कर जाती है। जो लोग दैनिक कमाई पर जीवनयापन करते हैं वो काम पर नहीं जा पा रहे हैं। गरीब मजदूर भुखमरी की कगार पर आ गये हैं। किसानों की खेती-ज़मीन पर पानी फिर गया है। दुकानों को अरबों रूपयों का नुक़सान हो गया है। लोगों के पहचान पत्र, राशन कार्ड, ज़मीन-जायदाद के काग़ज़, बैंक की पास बुक, शैक्षिक प्रमाणपत्र, बीमारी के पर्चे व अन्य ज़रूरी काग़ज़ात या तो भीगकर बर्बाद हो गये हैं या फिर बह गये हैं। गाड़ी-वाहन डूब गये हैं। नदी के किनारे, नाव के सहारे' जीवन जीने वाले समाज के बीच जीविकोपार्जन का गहरा संकट आ गया है लेकिन उनकी दिक़्क़त सुनने-समझने वाला भाजपा सरकार या उनके सहयोगी दलों में कोई भी नहीं है।

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