भारतीय रेलवे दुनिया का चौथा सबसे बड़ा नेटवर्क माना जाता है। इससे देश के अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलती है। प्रतिदिन देश के चारों कोने से लगभग 1300 से अधिक ट्रेनें संचालित की जाती है, जिसमें हजारों लाखों यात्री सफर करते हैं। यह एक सस्ता और आरामदायक माध्यम है, जहां लोग कम पैसे में भी अपने गंतव्य तक पहुंच सकते हैं। इंडियन रेलवे भारतीय संस्कृति और परंपरा को भी दर्शाता है। जब लोग एक स्थान से दूसरे स्थान के लिए ट्रेन से सफर करते हैं तो, इस दौरान वह तरह-तरह के लोगों से मिलते हैं। हर राज्य की संस्कृति, खानपान और भाषा शैली को सीखने का भी मौका मिलता है।
डायमंड क्रॉसिंग हालांकि, ट्रेन में सफर करते वक्त पेड़-पौधे, आसपास खेत, घर, पहाड़, नदी, आदि के अलावा ट्रेन की पटरिया भी नजर आती है। कई बार आपने देखा होगा कि यह एक दूसरे को क्रॉस भी करती हैं। जिसके जरिए ट्रेन एक पटरी से दूसरे पटरी पर जाती है, लेकिन क्या आपने डायमंड क्रॉसिंग के बारे में सुना है, जहां से चारों दिशाओं से ट्रेन आती है, लेकिन एक-दूसरे से कभी टकराती नहीं है। यह अपने आप में काफी अनोखा रेलवे क्रॉसिंग है। सरकारी कर्मचारियों के लिए महत्वपूर्ण खबर, 31 जनवरी तक पूरा कर लें ये काम, वरना अटक सकता है वेतन-प्रमोशन, निर्देश हुए जारी नागपुर में है स्थित जी हां! दरअसल, यह भारत का इकलौता डायमंड क्रॉसिंग है, जो कि महाराष्ट्र के नागपुर रेलवे स्टेशन पर स्थित है। यहां रेलवे ट्रैक एक दूसरे को डायमंड सब की तरह क्रॉस करते हैं। जिसकी खास बात यही है कि यहां देश के चारों कोनों से ट्रेन आती है, लेकिन कभी यहां एक्सीडेंट नहीं हुई। रोजाना गुजरती हैं सैंकड़ों ट्रेनें यहां मुंबई-हावड़ा, दिल्ली-चेन्नई, काजीपेट-नागपुर, इटारसी-नागपुर रूट से ट्रेनें आती हैं।
इस डायमंड क्रॉसिंग से रोजाना सैंकड़ों ट्रेन गुजरती हैं, लेकिन कभी यहां दुर्घटना नहीं हुई है। इसके पीछे टेक्निकल कारण जुड़ा हुआ है। दरअसल, यहां पर सिग्नल सिस्टम और इंटरलॉकिंग सिस्टम का उपयोग किया जाता है। जिसके जरिए ट्रेन ट्रैक चेंज करते वक्त बिना किसी हादसे का शिकार हुए आराम से पार हो जाती है। यहां ऑटोमेटिक सिग्नल सिस्टम का इस्तेमाल किया जाता है, जिससे ट्रेन की स्पीड, डायरेक्शन और टाइम नजर आता है। जिसके अकॉर्डिंग सिग्नल दी जाती है। यहां एक्सप्रेस, सुपरफास्ट के अलावा राजधानी, दूरंतो और गरीब रथ भी क्रॉस करते हैं। यहां पर तैनात रेलवे कर्मचारी हमेशा अलर्ट मोड पर रहते हैं, ताकि किसी प्रकार की कोई अनहोनी ना हो। उनके द्वारा हमेशा ट्रैक मॉनिटरिंग की जाती है।