दशलक्षण पर्व पर महत्ती धर्म प्रभावना, श्री आदिनाथ दिगम्बर जैन मन्दिर सिंगोली मे आर्जव धर्म

प्रदीप जैन September 2, 2022, 2:16 pm Technology

सिंगोली। श्री आदिनाथ दिगम्बर जैन मन्दिर सिंगोली में आज आर्जव धर्म के अवसर पर श्रद्धेय त्यागी श्री चंद्रसेन जी ने बताया कि आर्जव धर्म तो मन वचन काय कि अवक्रता यानि सरलता ऋजुता मायाचारी से रहित अवस्था का नाम आर्जव धर्म है। आप सभी अनादि से इस रुठे हुए धर्म को मनाते आये हो पर क्या कारण कि यह धर्म आजतक मनाने पर भी मना नहीं है। धर्म क्या है यह क्यों नहीं हमारे जीवन में आता है इस कला से अनजान धर्म के नाम पर कुछ भी करते रहने का नाम धर्म नहीं है। धर्म तो आत्मा का स्वभाव है। इस जीव ने आत्म स्वभाव को तिरोभाव कर शरिर और रागादि का पार्दुभाव कर रखा है। जब हम अपने आत्म भाव सम्यक दर्शन ज्ञान चारित्र का पार्दुभाव करते हैं तो हमारी पर्याय में मोह राग द्वेष से रहित साम्य भाव प्रगट होता हैं वह सच्चा धर्म है।आपके द्वारा सभी को साम्यता को प्राप्त करने कि प्रेरणा दी जा रही है। रात्रि में राहुल भैया द्वारा भी पद्मपुराण के आधार पर राम चारित्र का वर्णन किया जा रहा है। उपरोक्त जानकारी श्री कुंद कुंद कहान दिगम्बर धार्मिक ट्रस्ट के ट्रस्टीयों द्वारा दी गई।

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