उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अपने दो दिवसीय काशी दौरे के दौरान शनिवार को पहली बार वाराणसी में ‘जनता दर्शन’ का आयोजन किया। सर्किट हाउस में आयोजित इस कार्यक्रम में उन्होंने 102 फरियादियों की शिकायतें सुनीं और प्रत्येक के पास जाकर उनकी समस्याओं को समझा। मुख्यमंत्री ने पुलिस कमिश्नर मोहित अग्रवाल, डीएम सत्येंद्र कुमार और मंडलायुक्त एस. राजलिंगम को त्वरित कार्रवाई के निर्देश दिए।
कुछ प्रार्थना पत्रों पर उन्होंने स्वयं आदेश लिखकर समाधान का आश्वासन दिया। जनता दर्शन सुबह 8 बजे सर्किट हाउस के सभागार में शुरू हुआ, जहां फरियादियों को व्यवस्थित रूप से बैठाया गया था। शिकायतों में राजस्व, नगर निगम, पुलिस थानों और छुट्टा पशुओं से संबंधित समस्याएं शामिल थीं। इसके अलावा, करीब एक दर्जन लोगों ने मुख्यमंत्री विवेकाधीन कोष से सहायता के लिए आवेदन दिए। जनता दर्शन की खबर फैलते ही सर्किट हाउस के बाहर भारी भीड़ जमा हो गई, जहां लोग बैरीकेडिंग के बावजूद अपनी समस्याएं रखने के लिए पहुंचे। जनता की समस्याओं का समाधान अब काशी में मुख्यमंत्री ने जनता दर्शन के महत्व पर जोर देते हुए कहा कि वाराणसी के लोग पहले गोरखपुर और लखनऊ में आयोजित जनता दर्शन में अपनी शिकायतें लेकर जाते थे। अब उनकी समस्याओं का समाधान यहीं काशी में किया जाएगा। इस दौरान उन्होंने पत्रकार केके शर्मा की पुस्तक ‘काशी के द्वादश ज्योतिर्लिंग’ का विमोचन भी किया। योगी ने अधिकारियों और जनप्रतिनिधियों को निर्देश दिए कि शिकायतों के निवारण में किसी भी तरह की लापरवाही नहीं होनी चाहिए।