चित्तौड़गढ़ । चित्तौड़गढ़ की गंगा कही जाने वाली गंभीरी नदी में बुधवार को बाढ़ सहित अन्य किसी भी प्रकार की विपरीत परिस्थितियों और आपदा से निपटने के लिए राष्ट्रीय आपदा प्रतिक्रिया बल बड़ौदा, राज्य आपदा प्रतिक्रिया बल, सिविल डिफेंस, फायर, चिकित्सा सहित अन्य विभागों की संयुक्त टीम ने मॉक ड्रिल की।
उपखंड अधिकारी बीनू देवल की उपस्थिति में पांच लोगों को डूबने की सूचना मिलने पर उन्हें बचाने की मॉक ड्रिल हुई। चित्तौड़गढ़ उपखंड अधिकारी बीनू देवल ने बताया कि शहर के मध्य बह रही चित्तौड़गढ़ की गंगा गंभीरी नदी में जिला प्रशासन और एनडीआरएफ बड़ौदा की संयुक्त टीमों ने बाढ़, आगजनी सहित अन्य विपरीत परिस्थितियों से निपटने और विपत्तियों में फंसे लोगों को बचाने के लिए करीब 2 घंटे की मॉक ड्रिल की। इसमें गंभीरी नदी में पांच लोगों की डूबने की सूचना मिली थी। इस पर एनडीआरफ और सिविल डिफेंस की टीम ने सभी लोगों को सुरक्षित बाहर निकाला और मौके पर उपस्थित चिकित्सकों की टीम ने उनका उपचार किया। गंभीर लोगों को समीपवर्ती जिला चिकित्सालय रेफर किया। उन्होंने बताया कि इस पूरी मॉक ड्रिल के दौरान एनसीसी कैडेट्स भी मौके पर मौजूद रहे। वही एनडीआरएफ बड़ौदा टीम के असिस्टेंट कमांडेंट राकेश कुमार ने बताया कि मॉक ड्रिल को लेकर मंगलवार को प्रशासन के उच्च अधिकारियों के साथ बैठक हुई थी। इसमें गंभीरी नदी में मॉक ड्रिल करना तय किया गया, जिसमें नदी में अचानक बाढ़ आने से पांच लोग नदी में फंसे हुए थे।
इसकी सूचना मिलने पर एनडीआरएफ और सिविल डिफेंस की टीम ने संयुक्त सर्चिग ऑपरेशन कर के सभी को सुरक्षित बाहर निकाला और मौके पर मौजूद चिकित्सकों ने उनका उपचार किया।
वहीं गंभीर लोगों को एंबुलेंस की मदद से समीपवर्ती जिला चिकित्सालय में भेजा गया।