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शहर के चारों और सड़कें हुई छलनी, मुख्यमंत्री के सामने पोल ना खुले इसलिए जनप्रतिनिधियों ने हेलीपैड बनवाया जावद में

Neemuch Headlines September 27, 2021, 2:05 pm Technology

मेडिकल कॉलेज की आवाज फिर हुई बुलंद अगर जनप्रतिनिधियों ने मुख्यमंत्री तक नहीं पहुंचाई बात तो होगा पुरजोर विरोध जिम्मेदार होंगे स्थानीय जनप्रतिनिधि

नीमच। मुख्यमंत्री, महोदय यह शहर है नीमच, जो शुरू से मुलभुत सुविधाओ का शिकार होता रहा। आज नीमच जिले में सड़क और पानी का जाल नहीं पहुंच पा रहा। करोड़ों रुपए की गांधी सागर जल अमृत योजना अभी भी केवल कागजों तक सीमित है, वही भारी वर्षा से किसानों का भविष्य पूरी तरह से अंधकार में चला गया ऐसे में नीमच शहर की सड़कें अपना दर्द बयान कर रही है। चाहे महू रोड से नीमच में आना हो या निंबाहेड़ा जाना हो, या फिर मनासा से नीमच जावद क्षेत्र की तरफ जाएं चारों तरफ बड़े-बड़े गड्ढे सड़कों की खस्ता हाल जनप्रतिनिधियों की उदासीनता सामने ला रही है। ऐसे में अगर मुख्यमंत्री का दौरा नीमच हो रहा है तो हेलीपैड जावद बनाने की आवश्यकता कहां है..?

नीमच की हवाई पट्टी पूर्ण रूप से उपयोगी होते हुए भी जनप्रतिनिधियों ने केवल मुख्यमंत्री के सामने अपनी पोल पट्टी ना खुले इसके लिए प्रशासन के साथ मिलकर हेलीपैड जावद में बना लिया। अब सोचने वाली बात है कि क्या जिले की जनता केवल त्रासदी झेलने के लिए भी रह गई है। या फिर उपयोग होने के लिए..? 2

साल में मेडिकल कॉलेज के नाम पर अभी भी भूमि पूजन नहीं जिले के सभी संगठनों में भारी आक्रोश:-

नीमच में मेडिकल कॉलेज की मांग को लेकर जन जागरण मंच एवं जिला प्रेस क्लब के बैनर तले एक बड़े आंदोलन ने जन्म लिया और देखते ही देखते 05 सितंबर 2019 को संपूर्ण जिला स्वैच्छिक रूप से बंद रहा। इसके साथ ही मेडिकल कॉलेज नीमच और मंदसौर दोनों जगह एक साथ स्वीकृत हुआ। नीमच वासियो को लगा कि अपना जिला फिर अस्तित्व में आ सकता है परंतु 2 साल बीतने के बाद भी यह जनप्रतिनिधियों की नाकामी ही है कि आगे रहकर मेडिकल कॉलेज के मामले को बड़े स्तर पर नहीं पहुंचाया और ना ही मुख्यमंत्री से भूमिपूजन की हां करवा सके।

नतीजा यह है कि काफी लंबे समय बाद प्रदेश के मुखिया शिवराज सिंह चौहान का दौरा 30 सितंबर को जावद क्षेत्र में निर्धारित हुआ परंतु सबसे बड़ी आवश्यकता मेडिकल कॉलेज के भूमि पूजन को लेकर कोई जानकारी अभी तक सामने नहीं आई। क्या मेडिकल कॉलेज के नाम पर जिले को कुछ वर्षों तक इंतजार करना पड़ेगा..? यह हमारे क्षेत्र के जनप्रतिनिधियों की ही मेहरबानी है कि हम लगातार पिछड़े हुए हैं। और एक बार फिर जन जागरण मंच, सर्व समाज एवं जिला प्रेस क्लब ने जिले के प्रति अपनी भूमिका का निर्वहन करते हुए इस मुद्दे को बड़ी जिम्मेदारी के साथ उठाया। फिलहाल जन जागरण मंच ने 28 सितंबर तक का अल्टीमेटम दिया है जिसमें अगर जनप्रतिनिधि हिम्मत कर इस क्षेत्र के विकास के लिए ईमानदारी से काम करते हुए प्रदेश के मुखिया शिवराज सिंह चौहान से मेडिकल कॉलेज के भूमि पूजन की स्वीकृति करवाते हैं तो क्षेत्र के लिए इससे बड़ी सौगात नहीं होगी, अन्यथा एक बार फिर मुख्यमंत्री को मध्यप्रदेश के अंतिम जिले से पुरजोर विरोध देखने को मिलेगा।

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