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क्रमोन्नति को लेकर शासन की लापरवाही से अध्यापकों का नुकसान जारी, आज़ाद अध्यापक संघ ने जिम्मेदारों से की मांग पढ़े ख़ास खबर

NEEMUCH HEADLINES September 11, 2021, 11:00 pm Technology

भोपाल। म प्र मे अध्यापक कर्मचारियों को पूर्व मे 7 वर्ष उपरांत पदोन्नति दिये जाने का प्रावधान तय किया था व साथ ही प्रत्येक अध्यापक को 12 वर्ष की सेवा अवधि पर क्रमोन्नत किया जाता था। लेकिन पदोन्नति का मामला न्यायालय मे लम्बित होने से पिछले 8 वर्ष से पदोन्नति नही हो पाई है। लेकिन अध्यापक संवर्ग के क्रमोन्नति भी नियमावली मे निहित थी की 12 वर्ष, 24वर्ष व 30 वर्ष की सेवा अवधि पर प्रत्येक अध्यापक क्रमोन्नति हैतू पात्रता रखेगें। लेकिन म प्र शासन ने 2018 के पश्चात से अध्यापकों के लिये बनाये गये नये केडर (राज्य शिक्षा सेवा) मे सम्मिलित अध्यापकों की क्रमोन्नति को लेकर जिम्मैदार अधिकारी आज दिनांक तक किसी प्रकार का समाधान नही निकाल पाये । जबकि 2006 से नियुक्त अध्यापकों की। आज सेवा अवधि लगभग 15 वर्ष हो चुकी है लेकिन उनकी आज दिनांक तक क्रमोन्नति लम्बित हैं। आजाद अध्यापक संघ के प्रांतीय संगठन मंत्री विनोद राठोर ने शासन के जिम्मैदार अधिकारियों से मांग कि है कि अध्यापक संवर्ग मे सम्मिलित आध्यापको की लम्बित अध्यापकों की क्रमोन्नति तुरंत लागू करते हुवे उचित लाभ कर्मचारियों को दिया जाये ।जिससे की अध्यापक संवर्ग (जो कि अब राज्य शिक्षा सेवा मे सम्मिलित है) को शासन के नियमो के तहत उचित लाभ मिल पाये। आजाद अध्यापक संघ यह मांग करता है की जब शासन ने अपनी नियमावली मे कर्मचारियों के हितार्थ निर्णय पूर्व मे ही ले लिये है तो आखिर क्यों शिक्षा विभाग के जिम्मेदारी अधिकारी अपने ही विभाग के अधिनस्थ कर्मचारियों का आर्थिक नुकसान करने पर आमदा हैं। यदि समय रहते उचित निराकरण नही किया गया तो संगठन प्रांताध्यक्ष शिल्पी शिवान जी के नैतृत्व में आंदोलन हैतू मैदानी स्तर पर संघर्ष करने हैतू अगली योजना बनाने पर तैयारी करेगा।

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