भोपाल। मध्य प्रदेश के किसानों के लिए ये अच्छी खबर है, उन्हें आने वाले समय में सिंचाई के लिए और पीने के लिए पर्याप्त पानी मिलेगा इसके लिए सरकार प्रबंध कर रही है, इन दिनों चल रहे जल गंगा संवर्धन अभियान में पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग द्वारा मनरेगा योजना के तहत प्रदेश के 1 लाख 3 हजार कुओं को बारिश के पानी से रिचार्ज करने का लक्ष्य तय किया है। मध्य प्रदेश में 30 मार्च से शुरू हुआ जल गंगा संवर्धन अभियान जारी है और ये 30 जून तक चलेगा, इसमें मनरेगा योजना के तहत कई तरह के कार्य कराये जा रहे हैं जिसका सीधा लाभ प्रदेश की जनता को होगा, अब शासन ने किसानों को सिंचाई के लिए और पेयजल के लिए पर्याप्त पानी उपलब्ध कराने के लिए एक योजना बनाई है जिसपर तेजी से काम चल रहा है। कूप रिचार्ज पिट बनवाने में किसानों भी दिखा रहे जागरूकता जल गंगा संवर्धन अभियान में पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग द्वारा मनरेगा योजना के तहत प्रदेश के 1 लाख कुओं को बारिश के पानी से रिचार्ज करने का लक्ष्य तय किया है।
इस लक्ष्य को पूरा करने के लिए कुओं के पास कूप रिचार्ज पिट (डगवेल रिचार्ज विधि) बनाये जा रहे हैं। कूप रिचार्ज पिट को बनवाने में प्रदेश के किसानों ने भी जागरूकता दिखाई है। उन्हें भरोसा है कि कुओं के रिचार्ज होने से भू-जलस्तर बढ़ेगा, साथ ही सिंचाई व पीने के लिए पर्याप्त पानी भी उपलब्ध होगा। 1 लाख 3 हजार कुओं को रिजार्च करने का लक्ष्य जल गंगा संवर्धन अभियान में पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग द्वारा प्रदेश में 1 लाख 3 हजार कुओं को रिचार्ज करने का लक्ष्य तय किया है। इसमें से 75 हजार से अधिक कुओं के पास कूप रिचार्ज पिट बनाने का कार्य शुरू हो गया है। खंडवा जिले में कूप रिचार्ज पिट बनाने को लेकर दिए गए लक्ष्य से अधिक का निर्माण कर दिया गया है। कूप रिचार्ज पिट बन जाने से भू-जल स्तर में वृद्धि होगी। साथ ही गर्मियों में कुओं के सूखने की संभावना भी कम हो जाएगी। ये है कूप रिचार्ज पिट बनाने की विधि कूप रिचार्ज पिट बनाने के लिए एक खास संरचना तैयार की गई है। जिसमें पत्थर और मोटी रेत की परतें होंगी। पिट का निर्माण कुएं से 3 से 6 मीटर की दूरी पर किया जाएगा। इसके लिए 3 मीटर लंबा, 3 मीटर चौड़ा और 8 मीटर गहर गड्ढ़ा खोदा जा रहा है।
गड्ढ़े में 8 इंच का पाइप डालकर इसे कुएं के अंदर डाला जाएगा। फिर कुएं में पाइप के छोर पर एल्बो लगाकर 1 फिट का पाइप नीचे की तरफ लगाया जाएगा। इसके बाद पाइपलाइन के जरिए कुएं तक पहुंचाया जाएगा। पानी सहेजने, पुराने जल स्त्रोतों के जीर्णोद्धार का कार्य प्रदेश सरकार द्वारा मुख्यमंत्री डॉ. यादव के नेतृत्व में 30 मार्च से जल गंगा संवर्धन अभियान चलाया जा रहा है। यह अभियान 30 जून तक जारी रहेगा। अभियान में बारिश के पानी को सहेजने व पुराने जल स्त्रोतों का जीर्णोद्धार करने का कार्य किया जा रहा है। तीन माह तक चलने वाले इस अभियान के तहत पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग द्वारा बारिश के पानी का संयचन करने व पुराने जल स्त्रोतों को नया जीवन देने के लिए प्रदेश के सभी जिलों में खेत-तालाब, कूप रिचार्ज पिट, चैक, डैम, अमृत सरोवर सहित अन्य कार्य किए जा रहे हैं।