स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर पतंगबाजी में चीनी मांझे के इस्तेमाल के कारण नई दिल्ली में बिजली लाइनों के 'ट्रिप' (खराब) होने की 50 से अधिक घटनाओं के कारण शहरभर में हजारों लोगों को बिजली आपूर्ति में बाधा का सामना करना पड़ा। अधिकारियों ने शुक्रवार को यह जानकारी दी। विद्युत वितरण कंपनियों (डिस्कॉम) के अधिकारियों ने बताया कि चीनी मांझे के कारण सबसे अधिक व्यवधान उत्तरी दिल्ली में हुआ।
उत्तरी दिल्ली क्षेत्रों में बिजली की आपूर्ति करने वाली टाटा पॉवर दिल्ली डिस्ट्रीब्यूशन लिमिटेड (टीपीडीडीएल) की एक प्रवक्ता ने बताया कि उप-पारेषण (ट्रांसमिशन) स्तर पर पतंगबाजी के कारण 'ट्रिपिंग' की कोई घटना नहीं हुई है। उन्होंने कहा कि हालांकि 11 केवी स्तर पर 49 व्यवधानों की सूचना मिली जिससे लगभग 25,000 ग्राहक प्रभावित हुए। डिस्कॉम लोगों से जिम्मेदारी के साथ पतंग उड़ाने का आग्रह कर रही है। उन्होंने कहा कि डिस्कॉम द्वारा एक विशेष सुरक्षा सलाह वीडियो साझा किया गया है जिसमें नागरिकों को विद्युत प्रतिष्ठानों के पास पतंग न उड़ाने और इसके लिए धातुयुक्त मांझे के उपयोग से बचने की सलाह दी गई है। बीएसईएस के एक प्रवक्ता ने बताया कि अन्य वितरण कंपनियों बीआरपीएल और बीवाईपीएल ने ऐसी 6 'ट्रिपिंग' की सूचना दी है।
उन्होंने कहा कि विद्युत प्रतिष्ठानों के पास पतंग उड़ाने के खतरों के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए बीएसईएस ने एक व्यापक अभियान शुरू किया था। इसमें सोशल मीडिया पोस्ट, रेजिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन (आरडब्ल्यूए) के साथ बातचीत आदि शामिल हैं जिनका उद्देश्य उपभोक्ताओं को धातु-लेपित मांझे से जुड़े जोखिमों के बारे में जागरूक करना है। आमतौर पर पतंग उड़ाने के लिए इस्तेमाल होने वाली धातु लेपित डोर को चीनी 'मांझा' कहा जाता है।