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हनुमानजी का जन्म उत्सव कैसे मनाएं? जानिये हनुमान जयंती पर शुभ महूर्त ओर पूजा विधि

Neemuch headlines April 6, 2023, 6:41 am Technology

हनुमान पूजा के शुभ मुहूर्त:-

ब्रह्म मुहूर्त प्रात: 04:56 से 05:42 तक अमृत काल: प्रात: 06:22 से 08:03 तक अभिजित मुहूर्त दोपहर 12:16 से 01:06 तक विजय मुहूर्त दोपहर 02:45 से 03:35 तक गोधूलि मुहूर्त शाम 06:52 से 07:16 तक निश्चिता मुहूर्त रात्रि 12:18 से 01:04 बजे तक।

हनुमान पूजा की विधि:-

प्रातःकाल स्नान-ध्यान से निवृत हो व्रत का संकल्प ले और पूजा की तैयारी करें। हनुमानजी की मूर्ति या चित्र को तात या पीला कपड़ा बिचाकर लकड़ी के पाट पर रखें और आप खुद कुश के आसन पर बैठें।

हनुमानजी के संबंध में ऐसी 10 बातें जो आपने कभी सुनी नहीं होंगी:-

मूर्ति को स्नान कराएं और यदि चित्र है तो उसे अच्छे से साफ करें।

-इसके बाद धूप, दीप प्रज्वलित करके पूजा प्रारंभ करें। हनुमानजी को घी का दीपक जलाएं। हनुमानजी को अनामिका अंगुली से तिलक लगाएं। सिंदूर अर्पित करें, गंध, चंदन आदि लगाएं और फिर हनुमानजी को अनामिका अंगुली से तिलक लगाएं, सिंदूर अर्पित करें, गंध, चंदन आदि लगाएं और फिर उन्हें हार और फूल चढ़ाएं।

यदि मूर्ति का अभिषेक करना चाहते हैं तो कच्चा दूध, दही, घी और शहद यानी पंचामृत से उनका अभिषेक करें फिर पूजा करें। • अच्छे से पंचोपचार पूजा करने के बाद उन्हें नैवेद्य अर्पित करें। नमक, मिर्च और तेल का प्रयोग नैवेद्य में नहीं किया जाता है। 

•गुड़-चने का प्रसाद जरूर अर्पित करें। इसके आलावा केसरिया बूंदी के लड्डू, बेसन के लड्डू, चूरमा मालपुआ या मलाई मिश्री का भोग लगाएं। यदि कोई मनोकामना है तो उन्हें पान का बीड़ा अर्पित करके अपनी मनोकामना बोलें।

अंत में हनुमानजी की आरती उतारें और उनकी आरती करें। और अंत में उसे प्रसाद रूप में सभी को बांट दें!

इस अवसार पर हनुमाजी की शोभा यात्रा भी निकाली जाती है।

हनुमान पूजा के नियम:-

1. हनुमान पूजा में शुद्धता और पवित्रता का विशेष ध्यान रखना चाहिए। पूजा स्थल की साफ सफाई अच्छे से कर

2. हनुमान पूजा एक पवित्र जगह पर बैठकर ही करना चाहिए। खासकर या तो आपके घर के पूजास्थल पर मंदिर में तीर्थ क्षेत्र में या पहले से नियुक्त साफ सफाई

3. हनुमान पूजा को विशेष मुहूर्त में ही करें या सुबह औरशाम को ही करें।

4. हनुमान पूजा पाठ के दौरान उपयोग किए गए फूल लाल रंग के रखें।

5. हनुमान पूजा के पहले दीप प्रज्वलित जरूर करना चाहिए। दीपक में जो बाती लगाई जा रही है वह भी लाल सूत (धागे) की होनी चाहिए किसी भी स्थल पर पूजा करने के पूर्व दीप जरूर प्रज्वलित करें हनुमान पूजा।के दौरान जो दीपक जला रहे हो उसमें चमेली का तेल या शुद्ध घी होना चाहिए।

6. हनुमानजी पूजा के बाद आरती करें और फिर उन्हें गुड़ और चने का प्रसाद जरूर अर्पित करें। इसके आलावा चाहें तो केसरिया बूंदी के लड्डू, बेसन के लड्डू, चूरमा,मालपुआ या मलाई मिश्री का भोग लगाएं।

7. हनुमानजी पूजा के दौरान सिर्फ एक वस्त्र पहनकर ही पूजा करें।

8. हनुमान मूर्ति या चित्र को लकड़ी के पाठ पर लाल कपड़ा बिछाकर स्थापित करें और खुद कुश के आसन पर बैठकर ही पूजा करें।

हनुमान जन्मोत्सव की हार्दिक शुभकामनाएं हनुमान पूजा की सावधानियां :-

1. जिस दिन पूजा करना हो उसके एक दिन पूर्व से ही मांस, मदिरा आदि का सेवन करना छोड़ दें।

2. जिस दिन पूजा करना हो उसके एक दिन पूर्व से ही ब्रह्मचर्य का पालन करना प्रारंभ करें और मन में किसी भी प्रकार का कामुक विचार न रखें।

3. हनुमान पूजा के बीच में किसी भी प्रकार का व्यवधान उत्पन्न न हो इसका ध्यान रखें।

4. यदि घर में सूतककाल चल रहा है तो पूजा न करें।

5. हनुमान पूजा में तुलसी, चरणामृत या पंचामृत का उपयोग नहीं करें।

6. महिलाएं हनुमानजी को वस्त्र, जनेऊ या चोला अर्पित न करें।

7. महिलाओं को महावारी के दौरान पूजा से दूर रहनाचाहिए।1

8. हनुमानजी की किसी भी प्रकार से तांत्रिक पूजा नहीं की जानी चाहिए।

9. हनुमानजी का व्रत रख रहे हैं तो नमक, मिर्च और अनाज के सेवन से बचें।

10. हनुमानजी को अर्पित किए गए भोग या प्रसाद शुद्ध श्री में बने हुए होना चाहिए।

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